डाटा क्या है? आपका डाटा चोरी कैसे होता है? और डाटा चोरी से कैसे बचे?

दोस्तों लगातार हमें डाटा से जुड़ी काफी सारी बातें सुनने को मिल रही है और ऐसे में सभी लोग अपने अलग-अलग विचारों को रख रहे हैं।

यह बात तो सब जगह बताई जा रही है की Chinese Apps Data चोरी करते हैं जबकि यह जानना ज्यादा जरूरी है कि वह लोग डाटा किस तरह से चोरी करते हैं? और हम उससे अपने आप को कैसे सुरक्षित रख सकते हैं।
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डाटा आखिर चीज क्या है?

दोस्तों यहां पर डाटा का साधारण भाषा में मतलब है एक इंसान से जुड़ी कोई भी चीज जैसे ― उसका नाम, उसका पता, उसकी पसंद, उसकी नापसंद जैसी अनेकों चीज जो किसी इंसान से जुड़ी होती हैं उन सभी चीजों को डाटा कहा जाता है।

अभी यहां पर किसी भी इंसान की पसंद या नापसंद बार-बार बदलती रहती है तो ऐसे में उसको क्या ज्यादा पसंद है इसके लिए Machine Learning का उपयोग किया जाता है जिसे Artificial Intelligence भी कहते हैं। Machine या फिर Computer हमारे Command को समझने के लिए Binary Language का उपयोग करते हैं जो कि 0 और 1 होती है।

और जब आप किसी वीडियो को देखने के बाद लाइक या फिर डिस लाइक करते हैं तो यह यह चीज कंप्यूटर को कमांड देती है कि यह वीडियो आपको पसंद है या फिर नहीं पसंद है।

जब आप इस चीज को बार-बार दोहराते हैं तब Artificial Intelligence इस चीज को आसानी से समझ पाता है कि यह particular व्यक्ति को किस category की वीडियो या content को देखना पसंद है।

यह तो केवल एक वीडियो पर लाइक और डिसलाइक से जुड़ा हुआ उदाहरण है इसके अलावा भी इंटरनेट पर जब आप किसी वेबसाइट पर या फिर किसी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर लगातार किस चीज को बार-बार दोहराते हैं तो कंप्यूटर इस बात को समझ जाता है कि आपको क्या पसंद है और क्या नहीं।

और जब कोई कंप्यूटर किसी इंसान के दिमाग को समझने लग जाए तब यार कितना घातक हो सकता है इसका अंदाजा आप खुद भी लगा सकते हैं।

और कुछ इसी तरीके से Tik-Tok में भी आपको वीडियो पर केवल लाइक या फिर कमेंट करने का ऑप्शन मिलता था। यदि आप Tik-Tok पर चल रही वीडियो पसंद आती थी तो आप उसको लाइक करते थे और इस चीज को लगातार दोहराने के बाद से Tik-Tok App का Algorithm इस बात को भांप लेता था। की सामने वाले व्यक्ति को कैसा वीडियो देखना पसंद है।

और जैसा कि हम सभी जानते हैं की Tik-Tok एक चाइनीज कंपनी ने बनाया है जिस वजह से हमारे privacy को लेकर खतरा और भी ज्यादा बढ़ जाता है।

हालांकि अगर आप चाइना की तरफ ध्यान दें तो वह अपनी privacy को लेकर इतने ज्यादा सतर्क है कि वह लोग ज्यादातर अपने देश के बनाए हुए ऐप्स या फिर सरकार के द्वारा बताए गए एप्स को ही यूज करते हैं जिस वजह से उनका डाटा केवल उनके देश भर में ही रह पाता है।

हालांकि अपने देश में ऐसा नहीं है भारत में 90% से भी ज्यादा स्मार्टफोन यूजर्स दूसरे देशों के Developers के द्वारा बनाए हुए Apps को अपने फोन में यूज करते हैं।

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Chinese Apps डाटा किस तरह चुराते हैं?

दोस्तों यह तो बात हुई Data और Machine Learning के बारे में हालांकि साथ में हमने आपको बताया कि Tik-Tok किस तरीके से इसका उपयोग कर रहा था।

अब यदि बात करें दूसरे चाइनीज ऐप्स या फिर नॉन-चाइनीस एप्स के बारे में तो वह लोग डाटा किस तरह से चुराते हैं।

सबसे पहले तो आपने अगर ध्यान दिया हो UC Browser के बारे में हालांकि एक ब्राउज़र का काम इतना होता है कि वह आप की लोकेशन को Acess करें और ज्यादा से ज्यादा फाइल मैनेजर को।

जबकि जब कभी भी आप UC Browser को इंस्टॉल करते थे तब यह App आपके Contacts, SMS, Camera, Settings के साथ-साथ लोकेशन जैसी चीजों का Access मांगता था।

और ना केवल यूसी ब्राउजर बल्कि वह सभी Apps जिनको भारत सरकार ने बैन कर दिया है वो सभी Apps ऐसी चीजों का Access मांगते थे। जो सीधे इस बात का संकेत देती थी कि इनका मकसद कहीं ना कहीं हमारे प्राइवेट डाटा को चोरी करना है।

अब यदि आप Tik-Tok  की ही बात करें तो यह ऐप ना केवल लोगों का समय खराब कर रहा था। बल्कि यदि आपके मोबाइल का GPS बंद है उसके बावजूद यह आप की Location को Access करके आपकी Location के हिसाब से Content को App Screen पर डिस्प्ले भी कर रहा था।

जबकि यदि हम किसी App को Location का Access ना दें, तो यहां पर उस ऐप को हमारे लोकेशन को ट्रैक करने का कोई मतलब ही नहीं बनता है लेकिन Tik-Tok इस चीज को कर पा रहा था क्योंकि वह लोकेशन direct आपके मोबाइल की SIM Card से Track कर रहा था।

और साथ ही में Tik-Tok की Parent कंपनी Bytedance जो कि एक A.I Product based कंपनी है जिनके लिए डाटा ही सब कुछ होता है और यह कंपनी भी चाइना की ही है और कुछ समय पहले U.S.A गवर्नमेंट की तरफ से Tik-Tok पर जुर्माना भी लगाया गया था इस बात का कि वह U.S.A के लोगों का डाटा चुरा कर चाइना भेज रहा है।

और चाइना में मीडिया और कंपनियां सभी चाइनीज सरकार के हिसाब से काम करती हैं और ऐसे में चाइनीज सरकार इन Apps के द्वारा स्टोर किया गया डाटा किसी भी देश के खिलाफ यूज कर सकते हैं।

और कुछ चाइनीज है आप तो इतनी ज्यादा खतरनाक होती हैं कि वह आपके माइक्रोफोन का भी Acess मांगती हैं और ऐसे में यदि आप उन्हें अपने माइक्रोफोन तक का Access दे देते हैं तो वह आपकी बातों को भी सुन सकते हैं।

और कोई भी ऐप किसी के भी मोबाइल में डाउनलोड किया जा सकता है चाहे वह सेना का उच्च अधिकारी हो या फिर एक आम आदमी और ऐसे में यदि ये खतरनाक Apps सेना के किसी उच्चाधिकारी अधिकारी के मोबाइल फोन में रहेंगे।  तो इससे देश की सुरक्षा को लेकर खतरा और भी ज्यादा बढ़ता है।
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डाटा चोरी से कैसे बचें?

अब हमें यह बात तो मालूम चल गया कि चाइनीज ऐप्स हो या फिर कोई दूसरा है हमारे डाटा को स्टोर करता है और वह उसका गलत उपयोग भी कर सकता है।

अब ऐसे में यह हमारी जिम्मेदारी बनती है कि हम उन्हीं एप्स को यूज करें जो पूरे तरीके से Authentic हो और हमारे लिए जरूरी भी हो।

और साथ ही में किसी भी ऐप को इंस्टॉल करते वक्त हमें इस बात का खास ख्याल रखना चाहिए कि वह ऐप उन्हीं चीजों की permission मांगे जिसके लिए उसे आपको बनाया गया है।

काफी सारे लोग गूगल से Apk Files को डाउनलोड करते हैं जो कि User की Privacy को और भी ज्यादा खतरे में डाल सकता है क्योंकि प्ले स्टोर पर आपको वही Apps देखने को मिलेंगे जो पूरी तरह से Marlware और Viruses से मुक्त हो।

जबकि यदि आप किसी Non-official वेबसाइट से किसी App को डाउनलोड करते हैं तो उसमें किसी भी प्रकार का virus या फिर malware होने की भी संभावना ज्यादा होती है।

ऐसे में हमें इस बात का ख्याल रखना चाहिए कि हम किसी App या फिर किसी सॉफ्टवेयर को उनकी Official वेबसाइट से ही डाउनलोड करें और या फिर Authentic Stores से जैसे कि―  Play Store और Apple Store से।
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दोस्तों मैं उम्मीद करता हूं कि आपको हमारा यह ब्लॉग पोस्ट, “डाटा क्या है? आपका डाटा चोरी कैसे होता है? और डाटा चोरी से कैसे बचे?” से संबंधित चीजों के बारे में समझ में आ गया होगा।

यदि इस ब्लॉग पोस्ट से जुड़ा आपका कोई भी सवाल यह सुझाव है तो उसे हमारे साथ कमेंट में जरूर से साझा कीजिएगा।

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